दीदी नीलम आनंद की 17 वीं पुण्यतिथि शिवपुर मंदिर परिसर में धूमधाम से मनाई गई…..

 

* सैकड़ों की संख्या में पहुंचकर शिव शिष्यों ने दी श्रंद्धाजलि.

प्रतापपुर

शिव-शिष्य परिवार सूरजपुर जिला द्वारा दिवंगत शिव शिष्या मां दीदी नीलम आनंद की 17वीं पुण्यतिथि पर एक कार्यक्रम का आयोजन स्थानीय शिव मंदिर प्रांगण में शुक्रवार को किया गया। झमाझम बारिश के बावजूद भी पूरे जिलेभर से सैकड़ों की संख्या में शिव शिष्य परिवार के गुरु भाई बहन उपस्थित हुए।

कार्यक्रम की शुरुआत दीदी नीलम के छाया चित्र पर शिव-शिष्यों द्वारा पुष्पांजलि अर्पित कर तथा शिव शिष्या का चिराग एक-एक व्यक्ति में चेतना जगाने के संकल्प से की गई। इसके बाद दिवंगत दीदी द्वारा रचित ‘जाग-जाग महादेव’ ‘जगादा महादेव’ के भजन की प्रस्तुति के साथ शिव चर्चा कार्यक्रम की शुरुआत की गई।
कार्यक्रम के मुख्यवक्ता पंचम कुशवाहा ने कहा कि माँ दीदी नीलम आनंद अक्सर कहती थी कि वेश भूषा से कोई साधु नहीं होता है, बल्कि मन से साधु सच्चा होता है। दीदी नीलम आज भले ही शरीर में नहीं है, लेकिन उनकी ऊर्जा प्रत्येक शिव शिष्य के जेहन में प्रवाहित है। उन्होंने कहा कि दीदी परालौकिक व लौकिक ऊर्जा का एक ऐसा अद्भुत सम्मिश्रण है, जिसकी ऊर्जा सिर्फ जनमानस की चेतना को शिव की तरफ मोड़ना है। दीदी नीलम आनंद एक ऐसी ऊर्जा हैं जो हमारे समाज को एकजुट कर रही हैं।

कार्यक्रम वक्ता जानकी राजवाड़े ने कहा कि गुरु से बड़ा कोई नहीं है गुरु के बिना जीवन अधूरा है। वहीं गुरु भाई अजय साहू ने कहा कि मां दीदी नीलम आनंद हम शिष्यों का पथ प्रदर्शक थी आज उनके बताए हुए मार्ग पर चलने वाले सभी शिष्य खुशहाल जीवन जी रहे हैं। कार्यक्रम में अन्य गुरु भाई बहनों ने भी शिव गुरु के आस्था के प्रति अपनी अपनी चर्चा दिए। कार्यक्रम में एक से बढ़कर एक भजन गाए जिस पर लोगों ने खूब तालियां भी बजाई। इस दौरान दर्जनों नए लोगों ने भगवान शिव का शिष्य बनने की सदस्यता भी ली।

कार्यक्रम के अंत मे उपस्थित सभी लोगों ने “सांसें बहुत है कम, आओ वृक्ष लगाए हम” स्लोगन के साथ एकजुट होकर हर जगह पौधरोपण करने का संकल्प भी लिया।
इस अवसर पर प्रमुख रूप से चंद्रिका कुशवाहा,गोपाल देवांगन, रामसरन राजवाड़े, प्रेमलता देवांगन, अन्नू सिंह, इंदकुंवर देवांगन, कृष्णा, सुमित्रा, घुरन, अवधेश यादव, सौति लोतमा, वकील प्रसाद, प्यारेलाल सहित सैकड़ों की संख्या में गुरु भाई बहन उपस्थित रहे।