आदर्श ग्राम बसदेई में 15 साल से निवासरत दिव्यांग को नहीं मिल रहा दिव्यांग भत्ता, दिव्यांग भत्ता में सरपंच सचिव रोड़ा, नव पदस्थ कलेक्टर से जगी उम्मीद….

 

 

 

शमरोज खान सूरजपुर

सूरजपुर।  पंचायतों की मनमानी के कारण जरूरतमन्दों को सरकार की योजनाओं का लाभ नही मिल पा रहा है।जिससे लोगो मे आक्रोश है।जिला मुख्यालय से लगे आदर्श ग्राम बसदेई का जब यह हाल है तो जिले के दूरस्थ अंचलो का क्या होगा इसका अंदाजा सहज लगाया जा सकता है। सूरजपुर जनपद के गांव बसदेई को आदर्श ग्राम का दर्जा हासिल है वह भी आज से नही बल्कि अविभाजित मध्यप्रदेश के जमाने से। लेकिन यह दर्जा धीरे धीरे खत्म होने को है।बसदेई के आनन्द वर्मा एक पैर से पूरी तरह विकलांग है और विकलांग पेंशन के लिए वे कई बार पंचायत से लेकर जनपद के चक्कर काट चुके है पर आज तक उन्हें उक्त पेंशन नही मिला है। एक हादसे में एक पैर गंवाने वाले आनन्द वर्मा का जीविकोपार्जन मुश्किल हो गया है वे एक होटल में किसी तरह काम कर अपना जीवन यापन कर रहे है। उनके साथ केवल यही दुश्वारियां नही है बल्कि रहने के लिए अपना मकान भी नही है जिससे वे किसी तरह इधर उधर रह कर अपनी जिंदगी काट रहे है।श्री वर्मा ने जिला प्रशासन का ध्यान इस ओर आकर्षित कर उन पर रहम करने की गुजारिश की है जिससे उन्हें सरकारी पेंशन मिल जाये तो कुछ राहत हो सके।

* सरपंच सचिव दिव्या के पेंशन में रोड़ा –  सरकार द्वारा विकलांग पेंशन हर दिव्यांग का अधिकार है पर पंचायत स्तर पर सरपंच सचिव की मनमानी से वंचित हो जाते हैं कई दिव्यांग ऐसा ही एक मामला है बसदई ग्राम पंचायत का जहां 15 साल से स्टेडियम ग्राउंड के नीचे रह रहे दिव्यांग को आज भी दिव्यांग पेंशन का इंतजार है पर सरपंच सचिव की उदासीनता की वजह से वह इस पेंशन से वंचित है अब नव पदस्थ कलेक्टर से उम्मीद होगी जो इस ग्राम पंचायत में 15 साल से निवासरत है उसे दिव्यांग पेंशन दिला सके।